CNG Kit : देश में बढ़ती हुई पेट्रोल और डीजल की कीमतों को देखते हुए अब ड्राइवर या वाहन मालिक दूसरे ईंधन का विकल्प खोज रहे है। ऐसे में बाजार में अब CNG व्हीकल भी आ चुके है। लेकिन अगर आपके पास पुरानी कार है और आप उसमे CNG किट लगवाना चाहते तो ये खबर आपके लिए बहुत महत्वपूर्ण है।
दरअसल CNG, पेट्रोल और डीजल की तुलना में सस्ती है और इससे वाहन का माइलेज भी ज्यादा बढ़ जाता है। दूसरा इसका मेंटेनेंस भी काफी कम आता है और CNG खत्म होने पर आप पेट्रोल या डीजल से भी अपनी कार चला सकते है। लेकिन अगर आप अपनी पुरानी कार में CNG किट लगवाना चाहते है तो आपको कुछ बातों का विशेष ध्यान रखना होगा। आइये आपको बताते है इस बारे में विस्तार से…..
हर कार के लिए नहीं है CNG
आजकल मार्केट में फैक्ट्री फिटेड CNG किट वाली गाड़ियां भी उपलब्ध है। लेकिन अगर आप अपनी पुरानी कार में CNG किट लगवाना चाहते है तो ये कार पेट्रोल इंजन वाली होनी चाहिए। इसके अलावा आपको बता दें, कि ज्यादा पुराने मॉडल भी CNG को हैंडल नहीं कर पाते है। आपको पहले टेस्टिंग कर लेनी चाहिए कि आपकी कार CNG के लिए फिट है, उसके बाद ही आपको कार में CNG किट फिट करवाना चाहिए।
फैक्ट्री फिटेड CNG या बाहर से लगवाएँ
आपकी जानकारी के लिए बता दें, फैक्ट्री फिटेड CNG किट महंगी तो होती है लेकिन इनमे आपको किसी तरह की चिंता नहीं करनी होती। ये वारंटी पीरियड में आती है और कार के इंजन के अनुकूल ही बनाई जाती है। जबकि बाहर से लगवाए हुए CNG किट में कई तरह की परेशानी आ सकती है। इसने गैस लीक हो सकता है या इंस्टालेशन में दिक्क़त हो सकती है। इसके नुकसान की जिम्मेदारी ना तो डीलर लेता है और ना ही मैकेनिक। CNG किट की कीमत करीब 60,000 रुपये है।
बीमा कंपनी को करें अपडेट
अगर आप बाहर से CNG किट लगवाते है तो इसके बाद तुरंत आपको बीमा कंपनी से संपर्क करना चाहिए। क्योंकि ये वर्तमान पॉलिसी अब मान्य नहीं है। अपनी कार के पंजीकरण प्रमाणपत्र (RC) को अपडेट करने के बाद ऐसा करना न भूलें।
बूट स्पेस हो जाता है खत्म
CNG कार माइलेज में अच्छी होती है लेकिन इनका मेंटेनेंस ज्यादा आता है और इसे लगाने से गाड़ी का बूट स्पेस कम या पूरी तरह खत्म हो जाता है। इसके अलावा CNG वाहन की शक्ति उनके पेट्रोल समकक्ष वाहनों की तुलना में कम होती है।
CNG से रहता है वातावरण स्वच्छ
इसके अलावा पेट्रोल या डीजल की तुलना में CNG एक स्वच्छ-जलने वाला ईंधन है। यह कार्बन डाइऑक्साइड और नाइट्रोजन ऑक्साइड जैसे कम प्रदूषक छोड़ता है, जो एक स्वस्थ वातावरण में योगदान देता है और अस्थमा जैसी श्वसन समस्याओं को कम करता है।